स्कूल कॉलेज की स्थापना करेगा मुस्लिम समाज
अंजुमन की बैठक में आए प्रस्ताव पर बनी सहमति
शाजापुर। समाज में बालिका शिक्षा को बढ़ावा देने के उद्देश्य से स्कूल कॉलेज की स्थापना की जाएगी और रोज़गार के अवसर उपलब्ध कराने की दिशा में आगे बढ़ा जाए। अंजुमन कमेटी की बैठक में आए इस प्रस्ताव को समाजजनों ने सहमति प्रदान की। वहीं सर्व सर्वसम्मति से अंजुमन कमेटी का सरपरस्त सैयद साजिद अली मशहूर शाजापुरी और सह सचिव एजाज़ कुरैशी बबलू को चुना गया।
ईदगाह रोड़ स्थित मस्जिद बैतूल हम्द में पवित्र माह रामज़ान की तैयारियों के साथ विभिन्न सामाज हित के मुद्दों को लेकर जनाब काज़ी एहसान उल्ला की अध्यक्षता में अंजुमन कमेटी की बैठक आयोजित की गई। मौलाना हाजी मोहम्मद अफ़ज़ल, शहर काज़ी जनाब मोहसिन उल्ला, नायब काज़ी जनाब रेहमत उल्ला, मुफ़्ती जनाब इक़रार साहब ने समाज में रचनात्मक कार्यों को बढ़ावा देने पर ज़ोर देते हुए कहा कि शिक्षा के लिए समाज में जागरूकता लाई जाना बेहद ज़रूरी है। इसके लिए समाज अंजुमन कमेटी के अंतर्गत बालिका शिक्षा को प्राथमिकता देते हुए स्कूल की स्थापना करें और समाज के प्रत्येक परिवार को इस कार्य के लिए जोड़ा जाए। उन्होंने कहा कि शिक्षा के मिशन को पूर्ण करने के लिए अंजुमन कमेटी और प्रबुद्धजन इसमें अपना सहयोग प्रदान करें। वर्तमान में मदरसों और मकतबों में क़ुरआन की शिक्षा दी जा रही है, अब समाज को दीन के साथ दुनियावी आधुनिक शिक्षा के संस्थानों की स्थापना करना बेहद ज़रुरी है।
अंजुमन कमेटी के सदर हाजी नईम कुरैशी ने समाजजनों को सम्बोधित करते हुए कहा कि पिछले तीन वर्ष के कार्यकाल में वर्तमान अंजुमन कमेटी ने समाज के सहयोग से कई कार्य किये हैं, जिनमें समाज को मुख्यधार में जोड़ने के लिए शिक्षा, स्वास्थ और भाईचारा कायम रखना प्रमुख उद्देश्य रहा है। इसके साथ ही मुस्लिम समाज ने राष्ट्रीय आयोजनों में ऐतिहासिक तिरंगा यात्रा 26 जनवरी, 15 अगस्त जैसे महत्वपूर्ण राष्ट्रीय पर्व पर अपनी शानदार उपस्तिथि दर्ज करवाईं हैं। समाज के छात्र-छात्राओं को स्कूल कॉलेज, कोचिंग में सहयोग किया गया। वहीं स्वास्थ के क्षेत्र में ज़रूरत मंदों का मुफ़्त ईलाज, गर्भवती महिलाओं को समय पर टीकाकरण के साथ नवजात शिशुओं के इलाज और ब्लड डोनेशन जैसे कार्य प्राथमिकता के साथ किये गए। निर्धन परिवार की कन्याओं के विवाह में सहयोग कर बेटियों की सम्मानजनक विदाई के काम अंजुमन कमेटी कर रही है। वहीं धार्मिक स्थलों का रखरखाव, क़ब्रस्तान के कार्य भी कराये गए हैं।
*रमज़ान कैलेंडर का विमोचन*
पवित्र माह रमज़ान हिजरी सन 1446 में रोज़ा की सेहरी व अफ़्तार के समय के कैलेंडर का उलेमा और अतिथियों ने विमोचन किया। प्रति वर्ष अनुसार रमज़ान समय सारणी के साथ ही अंजुमन कमेटी ने वर्ष 2025 के कैलेंडर का प्रकाशन भी किया है। कैलेंडर में शहर के सभी उलेमा, मस्जिद और इमामों के नाम मोबाईल नंबर के साथ प्रकाशित किये गए हैं। वहीं सालाना कैलेंडर में कमेटी के सरपरस्त और पदाधिकारियों के साथ सदस्यों के नामों का उल्लेख इस मंशा के साथ किया गया है कि समाज में कार्य करने वालों से आवश्यकता होने पर संपर्क किया जा सके।
इस अवसर पर अंजुमन कमेटी के कोषाध्यक्ष हाजी इब्राहिम पठान, उपाध्यक्ष हाजी गफ्फार मंसूरी, सचिव मूसा आज़म खांन, मोहर्रम कमेटी के सरपरस्त मिर्ज़ा सलीम बेग, शैख शमीम सम्मू, सीरत कमेटी के संस्थापक सदर असलम अली शाह, हाजी हबीब कुरैशी, जुनैद मंसूरी, चिंटू आगा, हाजी ज़फर कुरैशी, जलील अंसारी, वाजिद अली शाह, अब्दुल शेरू, पार्षद हाफ़िज़ शमी उल्ला, पार्षद शोएब मेव, पार्षद शैख सलमान, पार्षद लाली पटेल, पार्षद रईस पठान, एकता ग्रुप के अध्यक्ष वकार अली, डॉक्टर मौजूद कुरैशी, शकील वारसी, अकील वारसी, शेख शाकिर, सोहेल मंसूरी, अय्यूब मेव, यूनुस मंसूरी, आला पटेल, इरशाद नागौरी, ज़ाकिर मंसूरी, हाजी इक़बाल शीशगर, ताज पहलवान, कुर्बान मंसूरी, फ़िरोज़ मंसूरी, आदिल अंसारी, नावेद खांन, गब्बर खांन, अज़गर अली, पप्पू भाई सदर, सफ़दर अली, अकरम अली, बिट्टा भाई, हनीफ मंसूरी, मोहसिन खांन, लालू उस्ताद, मंजू पेंटर, मेहबूब खांन, इकरार खांन, ग़फ्फार भाई एसआर, मुबारिक शाह, शेनन खांन, कल्लू भाई, अरशद पठान, रेहान पठान, शाहरुख़ पठान, फ़िरोज़ भूरू खांन, तोहिद शाह, सोहेल पठान, जावेद नानी, सलमान एहमद, सलमान पठान, इमरान पठान, इरफ़ान मंसूरी, आमीन शैख, अनवर पठान, रईस शैख, शादाब मंसूरी, टीपू सुल्तान, राशिद पठान, गोलू अब्बासी, इमरान एहमद सहित समाजजन उपस्थित थे।
*बड़ी संख्या में उलेमाओं ने की शिरकत*
मौलाना इकरार साहब, मौलाना, शोएब साहब, मौलाना वकील साहब, मौलाना निसार साहब, मौलाना ताल्हा साहब, मौलाना फारूक साहब, मौलाना शाहनवाज साहब, मौलाना अनवर साहब, हाफीज समीउल्लाह साहब, हाफिज नूर साहब, हाफिज अब्दुल हाफिज साहब, हाफिज वसीम साहब, हाफिज शाहीद साहब, हाफिज मुबारक साहब, हाफिज शराफत साहब, हाफिज अनास सहाब, हाफिज इमरान साहब, हाफिज जाकिर साहब, हाफिज इरशाद साहब, हाफिज अब्दुल रहीम साहब, हाफिज राशिद साहब, हाफिज अ. अहद साहब, हाफिज राजीक साहब, हाफिज इमरान साहब, हाफिज शकील साहब, हाफिज असलम साहब, हफिज शोएब साहब साहब, हाफिज फैजान साहब, हफीज फैजान सहाब, हाफिज अब्दुल रहमान साहब, हाफिज इश्तियाक, हाफिज हुजैफा, हाफीज सैफुल्लाह, हाफिज अनवर साहब, हाफिज रजाक साहब, हाफिज जेद साहब, हाफिज रईस साहब, हाफिज शाहनवाज साहब, हाफीज तोहिद साहब, हाफिज उबेद साहब, हाफिज अयान साहब, हाफिज अमन साहब, हाफिज मुजम्मिल और हाफिज जेद साहब सहित मस्जिदों के मोअज्जिन मौजूद थे।
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